कवर्धा। धारा 144 का हवाला देकर साम्प्रदायिक दंगा प्रभावित कवर्धा में घायलों से मिलने जा रहे भाजपा के प्रतिनिधिमंडल को कवर्धा सर्किट हाउस म...
कवर्धा। धारा 144 का हवाला देकर साम्प्रदायिक दंगा प्रभावित कवर्धा में घायलों से मिलने जा रहे भाजपा के प्रतिनिधिमंडल को कवर्धा सर्किट हाउस में रोक दिया गया। नेताओं ने धरना देकर इस रोक का विरोध किया, लेकिन स्थानीय प्रशासन माना नहीं। उसके बाद भाजपा नेताओं को राजधानी वापस लौटना पड़ा है।
विधानसभा में भाजपा विधायक दल के नेता धरमलाल कौशिक की अगुवाई में प्रतिनिधिमंडल करीब 3 बजे कवर्धा पहुंचा। इसमें राजनांदगांव सांसद संतोष पाण्डेय, पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, विधायक नारायण चंदेल और कृष्णमूर्ति बांधी शामिल थे। करीब डेढ़-दो घंटे तक नेताओं ने भाजपा के स्थानीय नेताओं, विश्व हिंदू परिषद और राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के स्थानीय प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर हालात का जायजा लिया। बैठक के बाद भाजपा का प्रतिनिधिमंडल और स्थानीय नेता शहर से निकलने की कोशिश की। नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक और विधायक बृजमोहन अग्रवाल आगे बढ़े तो कलेक्टर रमेश कुमार शर्मा और एसपी मोहित गर्ग ने मानव दीवार बनाकर उनको रोक लिया। वे बार-बार यह कहते रहे सर! आप यहां से आगे नहीं जा सकते।कलेक्टर और एसपी से भी अब तक हुई कार्रवाईयों की जानकारी ली। बाद में उन्होंने शहर में उन लोगों से मिलने जाने की कोशिश की, जो पुलिस लाठीचार्ज अथवा दंगे की चपेट में आने की वजह से घायल हुए हैं। प्रशासन ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया। कवर्धा कलेक्टर ने उन्हें एक पत्र दिया जिसमें उनके घायलों से मुलाकात के आग्रह को खारिज करने की बात लिखी थी। कहा गया, धारा 144 लगाई गई है। ऐसी स्थिति में शांति व्यवस्था और लोक सुरक्षा बनाए रखने के लिए आपका संबंधित परिवारों से मिलने का आग्रह अस्वीकार किया जाता है।
नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने कहा, यहां इंटरनेट बंद कर दिया गया है। कवर्धा में क्या हो रहा है दुनिया को मालूम नहीं है। उत्तर प्रदेश में क्या हो रहा है यह सबको पता है, लेकिन छत्तीसगढ़ की स्थिति किसी को नहीं पता।
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