30 जनवरी को बजेगा सायरन: राज्य सरकार का निर्देश, जहां हैं, वहीं रुकें: राज्य सरकार ने 30 जनवरी को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि प...
30 जनवरी को बजेगा सायरन: राज्य सरकार का निर्देश, जहां हैं, वहीं रुकें:
राज्य सरकार ने 30 जनवरी को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर एक विशेष परिपत्र जारी किया है। इस दिन सुबह सायरन बजाया जाएगा, जिसके साथ सभी नागरिकों को जहां वे हैं, वहीं रुककर दो मिनट का मौन धारण करने का अनुरोध किया गया है।
यह पहल गांधीजी के योगदान और देश के प्रति उनके बलिदान को सम्मानित करने के उद्देश्य से की गई है। सायरन सुबह 11:00 बजे बजेगा, और इसके साथ ही दो मिनट के लिए मौन रखा जाएगा।
राज्य सरकार ने सभी शासकीय कार्यालयों, शैक्षणिक संस्थानों, और निजी संगठनों से इस निर्देश का पालन करने का आग्रह किया है। नागरिकों से अपील की गई है कि वे इस दौरान अपने स्थान पर ठहरकर राष्ट्र के प्रति कृतज्ञता और सम्मान प्रकट करें।
महात्मा गांधी की पुण्यतिथि को हर साल ‘शहीद दिवस’ के रूप में मनाया जाता है, और यह सायरन उसी का हिस्सा है। राज्य सरकार ने इसे सामूहिक रूप से मनाने का आह्वान किया है।
30 जनवरी को शहीदों की स्मृति में दो मिनट का मौन: राज्य सरकार ने जारी किया परिपत्:
भारत के स्वतंत्रता संग्राम में अपने प्राणों की आहुति देने वाले शहीदों की स्मृति में 30 जनवरी 2025 को सुबह 11 बजे पूरे देश में दो मिनट का मौन रखा जाएगा। इस विशेष आयोजन को सफल बनाने के लिए मंत्रालय, नवा रायपुर के सामान्य प्रशासन विभाग (जीएडी) ने सभी विभागाध्यक्षों, संभागायुक्तों, कलेक्टरों, और जिला पंचायत के सीईओ सहित अन्य अधिकारियों को निर्देशित करते हुए एक परिपत्र जारी किया है।
राज्य सरकार ने यह निर्देश दिया है कि शहीद दिवस पर दो मिनट का मौन आयोजन हर कार्यालय, संस्था और सार्वजनिक स्थल पर सुनिश्चित किया जाए। इसका उद्देश्य शहीदों के बलिदान को याद कर उनके प्रति श्रद्धांजलि अर्पित करना है।
सायरन के माध्यम से सुबह 11 बजे मौन का संकेत दिया जाएगा। सायरन बजने के बाद सभी नागरिकों से जहां हैं, वहीं रुककर मौन धारण करने की अपील की गई है। दो मिनट बाद दूसरा सायरन बजाकर मौन समाप्त होने का संकेत दिया जाएगा।
राज्य सरकार ने सभी संबंधित अधिकारियों से इस आयोजन को व्यापक रूप से लागू करने और आम जनता को इसके महत्व से अवगत कराने का आग्रह किया है। महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर हर साल शहीद दिवस मनाया जाता है, और यह आयोजन उनके साथ-साथ सभी ज्ञात-अज्ञात शहीदों को श्रद्धांजलि देने का एक महत्वपूर्ण अवसर है।
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