हर सार्वजनिक उत्खनन पर रखी जाएगी पैनी नजर, रजिस्ट्रेशन अनिवार्य: रायपुर: प्रदेश में अब विकास कार्यों के नाम पर मनमाने तरीके से सड़कों और पाथ...
हर सार्वजनिक उत्खनन पर रखी जाएगी पैनी नजर, रजिस्ट्रेशन अनिवार्य:
रायपुर: प्रदेश में अब विकास कार्यों के नाम पर मनमाने तरीके से सड़कों और पाथ-वे की खुदाई नहीं की जा सकेगी। राज्य सरकार ने एक ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए सभी प्रकार के सार्वजनिक उत्खनन को नियंत्रित करने का फैसला लिया है। चाहे वह पीने के पानी की पाइपलाइन हो, सीवर लाइन हो या गैस पाइपलाइन बिछाने का कार्य—अब किसी भी प्रकार की खुदाई के लिए पहले अनुमति लेना अनिवार्य होगा।
राज्य सरकार द्वारा तय किए गए नए नियमों के अनुसार, बिना पूर्व अनुमति कोई भी सरकारी या निजी एजेंसी छोटे या बड़े किसी भी शहर, कस्बे या ग्राम पंचायत क्षेत्र में खुदाई कार्य नहीं कर सकेगी। इसके अतिरिक्त, खुदाई कार्य के लिए संबंधित एजेंसी को पंजीकरण कराना भी आवश्यक होगा।
जनता को राहत, अव्यवस्था पर लगेगी लगाम:
इस कदम से जहां आम नागरिकों को बार-बार खुदी हुई सड़कों और अव्यवस्थित यातायात से राहत मिलेगी, वहीं शहरी सौंदर्य और विकास कार्यों में समन्वय भी सुनिश्चित हो सकेगा। सरकार का यह निर्णय ‘स्मार्ट प्रशासन’ की दिशा में एक ठोस पहल माना जा रहा है।
सरकार का कहना:
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, "अब हर उत्खनन कार्य का पूरा रिकॉर्ड रखा जाएगा। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि खुदाई तय समयसीमा में पूरी हो और कार्य के बाद सड़क या पाथ-वे को पूर्व अवस्था में बहाल किया जाए।"
नियम तोड़ने पर कार्रवाई:
यदि कोई एजेंसी बिना अनुमति खुदाई करती पाई जाती है, तो उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। साथ ही नुकसान की भरपाई भी उसी एजेंसी से करवाई जाएगी।
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